भोपाल: प्रदेश में अगले विधानसभा चुनाव (assembly elections) में भले ही डेढ़ साल का समय बाकी हो लेकिन कांग्रेस ने 2018 की तर्ज पर 2023 के चुनाव से पहले अपने वचन पत्र पर काम करना तेज कर दिया है. कमलनाथ (Kamal Nath) वचन पत्र समिति पहले ही बना चुके हैं. अब वचन पत्र से जुड़े बिंदु जुटाने के लिए फॉर्मेट भी तय कर दिया गया है. समिति जिलों (committee districts) को फॉर्मेट भेज रही है उसी में वचन पत्र से जुड़े बिंदुओं पर जानकारी भेजना होगी.
कांग्रेस की वचन पत्र समिति ने कांग्रेस नेताओं (Congress leaders) को बड़ी आबादी को प्रभावित करने वाले मुद्दों पर जानकारी जुटाने के लिए कहा है. पार्टी ने नेताओं से कहा कि वह रोज 10 किलोमीटर पैदल जनसंपर्क कर सीधे पब्लिक से कनेक्ट हों. और जमीनी स्तर पर रिपोर्ट तैयार कर पार्टी को भेजें. जो फॉर्मेट पीसीसी की तरफ से जिलों को भेजा जा रहा है उसमें साफ कहा गया है लोगों को यह बताया जाए कि पुराने वचन पत्र में शामिल बिंदुओं को तो पूरा किया जाएगा. साथ ही नए वचन भी कॉन्ग्रेस के सत्ता में आने के बाद उसे पूरा करेगी.
कांग्रेस वचन पत्र समिति के अध्यक्ष कांग्रेस नेता राजेंद्र सिंह ने कहा पार्टी का फॉर्मेट जिलों को भेजा जा रहा है. कांग्रेस पार्टी 2023 के वचन पत्र में पिछले चुनाव के पहले जारी वचनों को पूरा करने और नए वचनों को शामिल करेगी. कांग्रेस नेता राजेंद्र सिंह के मुताबिक 2018 में कॉन्ग्रेस के सत्ता में आने के बाद वचनों पर अमल शुरू हुआ था. हालांकि 15 महीने के बाद सत्ता गंवाने पर 75 फीसदी वचन अधूरे रह गए थे. जबकि 25 पर काम शुरू नहीं हो सका था. अब अधूरे वचनों को पूरा करने के साथ बाकी बचे वचनों को भी 2023 के वचन पत्र में शामिल किया जाएगा. इसके लिए जिलों को फॉर्मेट भेजा गया है.
कांग्रेस पार्टी पहले ही ऐलान कर चुकी है कि 2023 के चुनाव में वह अधूरी किसान कर्ज माफी योजना को पूरा करेगी. कर्मचारियों के लिए पुरानी पेंशन योजना को लागू किया जाएगा. साथ ही अधूरे वचनों को भी पूरा करने का वायदा किया जा रहा है. अब देखना यह होगा कि 2018 में कांग्रेस के लिए रामबाण साबित हुआ पार्टी का वचन पत्र 2023 के चुनाव में जनता पर कितना असरदार होगा.