ग्वालियर। ग्वालियर जिले में महिला वोटिंग प्रतिशत को बढ़ाने के लिए महिला एसडीएम के आइडिया को लागू किया गया है। महिलाओं को वोट डालने के लिए घर से बूथ तक लाने के लिए एलपीजी सिलेंडर पर जिला निर्वाचन की तरफ से 28 नवंबर को वोट डालने जरूर आने की अपील का स्टीकर लगाया जा रहा है।
इसकी शुरुआत डबरा अनुभाग से की गई थी और अब जिलेभर में जिला खाद्य एवं आपूर्ति विभाग की ओर से इसे फॉलो कराया जा रहा है। डबरा एसडीएम और रिटर्निंग अधिकारी जयति सिंह ने यह पहल शुरू कराई है। स्वीप प्लान में इसे शामिल कर लिया गया है। 2013 विधानसभा चुनाव में ग्वालियर में महिला वोटिंग प्रतिशत 57 प्रतिशत के करीब था, जिसे अब ज्यादा से ज्यादा बढ़ाने का प्रयास है।
2013 में हुए विधानसभा चुनाव में ग्वालियर जिले में कुल वोटिंग प्रतिशत 60.93 रहा था। इस बार भारत निर्वाचन आयोग का वोटिंग प्रतिशत को बढ़ाने को लेकर खास फोकस है। इसी वजह से दिव्यांग पोलिंग बूथ और पिंक बूथ का कंसेप्ट लाया गया है। इस बार आयोग के निर्देश हैं कि घर के आखिरी व्यक्ति को भी पोलिंग बूथ तक लाया जाए, यह सभी जिलों में होना चाहिए।
इसलिए सिलेंडर पर लिखी अपील
आमतौर पर घरों में काम काज और खाना बनाने में महिलाओं का समय ज्यादातर वक्त बीतता है। घरों में पहुंचने वाले एलपीजी सिलेंडरों पर जब वोट डालने की अपील का स्टीकर लगा दिखेगा तो इसका असर महिला मतदाता पर पड़ेगा। वोट डालने जाने की झिझक को छोड़ महिलाओं को मतदान के प्रति रूझान बढने की उम्मीद है। सिलेंडर ऐसी चीज है जो घर-घर में होता है।
दिव्यांग वोटर को जो चाहिए वह मिलेगा
इस बार विधानसभा चुनाव में दिव्यांग मतदाताओं पर फोकस किया जा रहा है। इसमें भारत निर्वाचन आयोग की ओर से सुगम्य पोर्टल की शुरुआत की गई है। इसमें दिव्यांग खुद को रजिस्टर्ड कर सकता है और उसे पोलिंग बूथ पर आने तक जो भी परेशानी हो रही है, उसे फार्मेट भरना होगा। खुद नहीं भर सकते तो अपने साथी सहायक से भरवा सकते हैं। गाड़ी नहीं है, वॉलेंटियर की जरूरत है, जैसा भी बताया जाएगा, वह सुविधा आयोग की ओर से मिलेगी।
दिव्यांग मतदाताओं का मैन्युअल रजिस्ट्रेशन भी कलेक्ट्रेट में किया जा रहा है। घरों में परेशानी के कारण पोलिंग बूथ पर न आने वाले दिव्यांग व असहाय मतदाताओं के लिए विशेषकर यह प्रयास किया जा रहा है।
पूरे जिले में होगा लागू
महिला वोटर को वोट डालने को लेकर प्रेरित करने के लिए एलपीजी सिलेंडर पर वोट डालने की अपील का स्टीकर लगाया जा रहा है। डबरा एसडीएम की ओर से यह पहल की गई जिसे अब पूरे जिले में लागू किया जा रहा है।
-शिवम वर्मा, स्वीप,नोडल अधिकारी