जयपुर। राजस्थान में सिरोही पॉक्सो विशेष न्यायालय ने आठ साल की बच्ची से दुष्कर्म के बाद हत्या के मामले में सोमवार को आरोपी को फांसी की सजा सुनाई। न्यायाधीश अजिताभ आचार्य ने अपने निर्णय में कहा कि आठ वषीर्य बालिका जो खुद का बचाव नहीं कर सकती। उसके साथ दुष्कर्म हुआ, फिर हत्या कर दी गई। यह राक्षसी कृत्य है। ऐसे लोगों को समाज में जीने का कोई अधिकार नहीं है।
नहाने गई थी लौटी नहीं बेटी
पॉक्सो विशेष न्यायालय में सोमवार को यह फैसला सुनाया गया। दोषी नौकाराम उर्फ भारमाराम गरासिया निवासी तेलपी खेड़ा अनादरा सिरोही को फांसी की सजा दी गई। अनादरा थाने में एक महिला ने गत 25 सितंबर 2020 को रिपोर्ट दर्ज कराई। कहा कि उसकी आठ साल की बेटी दो भाइयों के साथ नहाने गई थी। वह वापस नहीं लौटी। काफी देर तक नहीं लौटने पर उसे ढूंढना शुरू किया।
बाद में मिला था बच्ची का शव
इस दौरान उसके भाइयों ने बताया कि वह उपला गोलियां तेलपी खेड़ा निवासी भारमल राम उर्फ नोका राम गरासिया के साथ बहन को आखिरी बार देखा था। बच्ची को ढूंढने पर उसका शव मिला। बच्ची के चेहरे, हाथ, पैर एवं अन्य स्थानों पर चोट के निशान थे। पीठ पर भी खरोंच मिले। इस मामले में मेडिकल बोर्ड के बाद पुलिस ने दुराचार तथा हत्या के आरोप में मामला दर्ज कर जांच शुरू की।