छतरपुर। मध्य प्रदेश के मंत्रियों सांसदों और विधायकों से पहली बार सामूहिक रूप सेरूबरू हुए प्रधानमंत्री खुद कम बोले और सबकी सुनी। उन्होंने पार्टी नेताओं के आपसी तालमेल के साथ ही जनप्रतिनिधियों के जनता के बीच बढ़ रही दूरी पर चिंता जताते हुए कहा कि, गैप सब जगह है, इस गैप को कम करना बहुत जरूरी है। उन्होंने साफ शब्दों में कहा क्या आप इतने बड़े हो गए हो की कोई आपसे बात ही ना करें?
भोपाल के कुशाभाऊ ठाकरे सभागार में प्रधानमंत्री करीब 2 घंटे पार्टी के मंत्रियों सांसदों, विधायकों और चुनिंदा पार्टी नेताओं के साथ रहे और खुलकर अपनी बात कही। वह खुद कम बोले और सांसदों विधायकों से ज्यादा बुलवाया। इस संवाद में प्रधानमंत्री ने विधायकों का दिल जीत लिया। संवाद में एक केंद्रीय मंत्री, प्रदेश के दो मंत्रियों के साथ ही करीब 25 विधायकों को अपनी बात रखने का मौका मिला और प्रधानमंत्री ने उनकी बात ध्यान से सुनने के बाद उन्हें संतुष्ट भी किया। विस्तार से अपनी बात रखने के इच्छुक कुछ विधायकों से प्रधानमंत्री ने कहा कि मैं आपका विषय समझ गया हूं बाद में कभी इस पर विस्तार से बात करेंगे। सभागार में मौजूद कई और विधायक भी अपनी बात रखना चाहते थे लेकिन समय की कमी के कारण उन्हें मौका नहीं मिल पाया।
पांच गुरू मंत्र दिए
- प्रधानमंत्री ने सांसदों और विधायकों के साथ ही उपस्थित पार्टी पदाधिकारियों को चार गुरु मंत्र दिए।
- उन्होंने कहा आपके बीच आपस का गैप तो कम करना ही है अपने मतदाताओं और आपके बीच में जो गैप है उसे भी आपको कम करना होगा इसी से आपकी आधी परेशानी खत्म हो जाएगी।
- जब भी आप लोगों के बीच जाओ उन्हें पूरा समय दो, पूरी तैयारी से उनके बीच जाओ
- इतना संतुष्ट करो कि साल में एक बार भी यदि आप उनके बीच जाओ तो वे आपसे नाराज नजर ना आए।
- औपचारिकता मत निभाओ।प्लानिंग से काम करो, इससे आपकी परेशानी भी कम होगी और लोगों के काम भी आसानी से होंगे।
- उन्होंने लीक से हटकर कुछ नया करने की बात भी कही।
होमवर्क स्ट्रांग रखोगे तो मंत्री के पास जाने की नौबत ही नहीं आएगी
सांसदों विधायकों से अपना होमवर्क स्ट्रांग रखने की बात करते हुए मोदी ने कहा कि इसके लिए आपको थोड़ी मेहनत करना पड़ेगी कामकाज के तरीके समझना पड़ेंगे। काम सिस्टम से होता है आपको मंत्री के पास जाने की जरूरत ही नहीं पड़ेगी।
ब्यूरोक्रेसी से तालमेल बनाओ सडक़ पर गुस्सा कम करो
प्रधानमंत्री ने कहा ब्यूरोक्रेसी से तालमेल बनाकर चलो हर मुद्दे पर उनसे लडऩे भिडने से आपकी समस्या का समाधान होने वाले नहीं है। ब्यूरोक्रेसी भी आपकी मदद करना चाहती है उस सडक़ पर लडऩे भिडने या गुस्सा निकालने से कुछ होने वाला नहीं है। ै इससे जनता खुश नहीं होती पर यह उन्हें हमारी कमजोरी का एहसास कराती है।
हार्डिया और ठाकुर बोले, पटेल और शुक्ला नहीं पहुंचे
इस संवाद में इंदौर के दो विधायकों महेंद्र हार्डिया कॉल उषा ठाकुर को ही बोलने का मौका मिला। दोनों ने अलग-अलग मुद्दों पर अपनी बात प्रधानमंत्री के सामने रखी और प्रधानमंत्री ने उन्हें संतुष्ट भी किया। पार्टी के दो विधायक मनोज पटेल और गोलू शुक्ला इस संवाद में नहीं पहुंचे वहीं पटेल पारिवारिक कारण से और शुक्ला प्रयागराज की धार्मिक यात्रा के चलते इस संवाद में शामिल नहीं हुए।