छतरपुर । मध्य प्रदेश के छतरपुर जिले के घुवारा में जैन मुनि विशांत सागर महाराज से अभद्रता और मारपीट करने के आरोपितों को जैन समाज से 10 साल के लिए निष्कासित कर दिया गया है। यह भी मुनादी करा दी गई है कि 10 साल के दौरान आरोपितों और उनके परिवार के किसी सदस्य में से कोई न तो समाज के बीच अच्छे या बुरे में बुलाएगा, न ही उनके यहां कोई जाएगा। यह निर्णय रविवार को सकल क्षेत्रीय जैन समाज और घुवारा जैन समाज की बैठक में लिया गया।

जैन समाज ने की निंदा
निर्णय की जानकारी सकल क्षेत्रीय जैन समाज की ओर से पत्र जारी करके समाजजनों के बीच साझा की गई है। इसमें कहा गया है कि वैद्य राजेंद्र कुमार, महेंद्र कुमार, जिनेंद्र कुमार, सुरेंद्र कुमार, नरेंद्र कुमार एवं उनके पूरे परिवारजनों ने मुनि विशांत सागर महाराज पर मिथ्या आरोप लगाया। मुनि के साथ अभद्रता और मारपीट की। संपूर्ण जैन समाज इस कृत्य की निंदा करता है।

10 साल के लिए निष्कासित
सर्वसम्मति से निर्णय कर आगामी 10 साल तक आरोपितों को जैन समाज से निष्कासित किया जाता है। ये और इनके परिवार के जो लोग सामाजिक व धार्मिक समिति में विभिन्न पदों पर हैं, उन्हें सभी समितियों से पृथक माना जाएगा। नहीं देंगे तो इस्तीफा मान लिया जाएगा। उनको और उनके परिवार को पूजा कार्य में नहीं बुलाए जाने का निर्णय लिया गया है। अगर घुवारा क्षेत्रीय समाज के लोग इन्हें बुलाते हैं तो वे भी दोषी होंगे। भविष्य में यदि कभी आरोपित लोगों को समाज से जुड़ना होगा तो इसी तरह समाज की बैठक जोड़कर ही निर्णय लिया जाएगा।

लड़की के साथ शिष्य लापता, मुनि से की अभद्रता
बता दें कि घुवारा में जैन मुनि विशांत सागर चातुर्मास कर रहे हैं। इस दौरान उनके साथ रह रहा एक शिष्य एक लड़की के साथ लापता हो गया है। इससे गुस्साए लोगों ने शनिवार को सुबह प्रवास स्थल पर पहुंचकर जैन मुनि पर हमला कर दिया और अभद्रता करते हुए मारपीट की।

इससे जैन समाज के लोग आक्रोशित हो गए और उन्होंने थाने पर धरना दिया। इसके बाद सात आरोपितों के खिलाफ एफआइआर दर्ज कर ली गई। इसके साथ ही जैन समाज के संगठनों ने रविवार को बैठक बुलाने का निर्णय लिया था।