मेरठ। मेरठ के हस्तिनापुर में PNB बैंक के मैनेजर संदीप कुमार की आठ माह की गर्भवती पत्नी शिखा और पांच साल के बेटे रूकांश की हत्या करने का आरोपी बहनोई जेल चला गया है। वहीं दूसरे हत्यारोपी ने आत्महत्या कर ली है। मां-बेटे की हत्या करने के बाद जिस स्कूटी से आरोपी फरार हुए थे, पुलिस ने उसे बरामद कर लिया है। बताया गया कि दोनों आरोपी शिखा की स्कूटी से ही फरार हुए थे।
ऐसे खुला केस, नकदी-जेवरात भी बरामद
शिखा के पिता श्रीपाल व पति संदीप ने हरीश पर हत्या का शक जताया था। पुलिस ने हरीश को हिरासत में लेकर पूछताछ की तो हरीश टूट गया। उसकी निशानदेही पर पुलिस ने शिखा की स्कूटी गाजियाबाद स्थित गंगनहर और लूटे गए जेवरात-नकदी बरामद कर लिए हैं।
नोएडा में हुई थी संदीप की बहन से हरीश की मुलाकात
पुलिस के मुताबिक, हरीश टैक्सी चालक है। करीब 16 साल पहले संदीप की बहन घर छोड़कर नोएडा पहुंची थी। इसी दौरान हरीश से डॉली की मुलाकात हुई। हरीश जब भी हस्तिनापुर या जंबूद्वीप में पर्यटक सैलानियों को लेकर आता था तो उसकी मुलाकात डॉली होती थी। दोनों ने प्रेम-प्रसंग के बाद शादी कर ली। इनके दो बच्चे हैं।
हरीश नोएडा के सेक्टर-51 में होशियारपुर की गली नंबर दो में रहता था। वहीं संदीप बिजनौर जिले के जलीलपुर में पंजाब नेशनल बैंक की शाखा में मैनेजर हैं। शिखा मूल रूप से उन्नाव के कंजोरा गांव की रहने वाली थीं। पिता श्रीपाल की मेरठ में तैनाती के दौरान कॉलेज में उसकी संदीप से पहले दोस्ती हुई फिर दोनों ने विवाह कर लिया था।
भाई को बताया… मैंने बड़ा अपराध कर दिया है
पुलिस दूसरे हत्यारोपी रवि की तलाश में लगी थी। वहीं गुरुवार की सुबह रवि का गोली लगा शव पिलखुवा के जंगल में ट्यूबवेल के पास मिला। पुलिस के मुताबिक, रवि ने आत्महत्या करने से पहले अपने भाई कहर सिंह को बताया कि उसने बड़ा अपराध कर दिया है। अब उसे आत्मग्लानि हो रही है। रवि के शव के पास से तमंचा भी मिला है।
शिखा के मायके वाले बोले- संदीप की जान को भी खतरा
घटना के बाद से शिखा के मायके वालों का कहना है कि संदीप के साथ उनका रिश्ता हमेशा रहेगा। संदीप के परिवार से उनका कोई लेना-देना नहीं है। बेटी की मौत के बाद सारे रिश्ते टूट गए हैं। हरीश का बड़ा गैंग है। उन्होंने कहा कि संदीप की जान को भी खतरा है। पुलिस ने आश्वासन दिया है कि संदीप की सुरक्षा को लेकर बातचीत चल रही है।
दरिंदे को मिले फांसी: श्रीपाल
पीड़ित परिवार के लोग इस सदमे से उबर नहीं रहे हैं। शिखा के पिता श्रीपाल का रो-रोकर बुरा हाल है। उन्होंने कहा कि दरिंदे को फांसी की सजा होनी चाहिए। संदीप गुमसुम है और ससुराल वाले उसको सांत्वना दे रहे हैं।