गुना । दिग्गी के गढ़ राघोगढ़ में केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने पहली बार सभा को संबोधित किया।
हालांकि अपने पूरे भाषण के दौरान सिंधिया ने एक बार भी दिग्विजय सिंह और जयवर्धन सिंह का नाम नहीं लिया। बिना दोनों का नाम लिए उन्होंने कांग्रेस पर निशाना साधा।
उन्होंने जनता से राघोगढ़ में एक नया अध्याय शुरू करने का आह्वान किया। उन्होंने कहा कि कुछ लोग हैं, जिनका काम हर अवसर में चुनौती ढूंढना है। जबकि भाजपा का काम चुनौतियों में अवसर ढूंढना है।
केंद्रीय मंत्री सिंधिया ने कहा कि उनकी सोच और विचारधारा बिल्कुल स्पष्ट है। उन्हें राजनीति से मोह नहीं है। सेवाभाव, प्रगति से उन्हें मोह है। विकास के साथ उन्हें ललक है।
उन्होंने कहा कि अभी तक तो वह संकोच में राघोगढ़ नहीं आते थे, लेकिन अब बार-बार यहां आएंगे। कांग्रेस पर निशाना साधते हुए कहा कि एक तरह हम हैं, जिनका कहना है कि प्राण जाएं पर वचन न जाएं। वहीं एक पार्टी का कहना है कि वचन तो जाए पर प्राण न जाएं।
केंद्रीय नागर विमानन मंत्री बनने के बाद ज्योतिरादित्य सिंधिया पहली बार राघोगढ़ पहुंचे। यह पहली बार है, जब दिग्विजय सिंह के गढ़ में सिंधिया बड़ा कार्यक्रम कर रहे हैं।
भाजपा कार्यकर्ताओं द्वारा उनका जगह-जगह स्वागत किया गया। यहां दिग्गी के करीबी हीरेन्द्र सिंह ने भाजपा की सदस्यता ग्रहण की। सिंधिया ने भाजपा का अंगवस्त्र गले में डालकर उनको भाजपा की सदस्यता दिलाई। भाजपा नेताओं का दावा है कि एक हजार से ज्यादा कांग्रेस के कार्यकर्ताओं ने भाजपा की सदस्यता ग्रहण की। प्रदेश के पंचायत मंत्री महेंद्र सिंह सिसोदिया ने कहा कि राघोगढ़ में चमचों और दलालों के साम्राज्य हैं। जो चमचे हैं वो किले पर पहुंच जाते हैं, बाकी जनता तो लाइनों में धक्के खाती है। उन्होंने जयवर्धन सिंह पर हमला बोलते हुए कहा कि बाबा साहब आप पहले 48 हजार से जीते थे, अब आप 4800 वोटों से चुनाव हारोगे।