भोपाल। मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में देश का सबसे बड़ा टीकाकरण अभियान 16 जनवरी से मध्यप्रदेश में प्रारंभ होगा। आधिकारिक जानकारी के अनुसार सीएम चौहान की अध्यक्षता में आज यहां मंत्रालय में संपन्न राज्य मंत्रि परिषद की बैठक में मध्यप्रदेश ‘ग्रामीण ऋण मुक्ति विधेयक-2020’ तथा केंद्र प्रवर्तित ‘प्रधानमंत्री सूक्ष्म खाद्य उन्नयन योजना’ सहित अन्य प्रस्तावों को मंजूरी दी गई। बैठक में मंत्रीपरिषद के सदस्य व संबंधित अधिकारी उपस्थित थे। मुख्यमंत्री ने कहा कि टीकाकरण को लेकर हमारी तैयारी चाक-चौबंद है। सारे परीक्षणों के बाद तैयार वैक्सीन ‘कोविशील्ड’ एवं ‘कोवैक्सीन’ को हरी झंडी दी गई है, जो सर्वश्रेष्ठ, पूर्ण रूप से सुरक्षित एवं रोग प्रतिरोधक क्षमता पैदा करने में सक्षम हैं।
चौहान ने कहा कि कुछ लोग भ्रम फैलाने की कोशिश कर रहे हैं, परंतु हमें उनकी बातों पर ध्यान नहीं देना है। उन्होंने कहा कि ‘मध्यप्रदेश ग्रामीण ऋण मुक्ति विधेयक-2020’ ऐसे सूदखोर साहूकारों के चंगुल से जनता को मुक्त करेगा, जो बिना वैध लाइसेंस के मनमानी दरों पर ऋण देते और वसूलते हैं। इसके द्वारा 15 अगस्त 2020 तक लिए गए सभी अवैध ऋण शून्य हो जाएंगे। अनुसूचित जनजाति ऋण मुक्ति विधेयक के माध्यम से अनुसूचित क्षेत्रों में रहने वाले जनजातीय भाई-बहनों को इस प्रकार के अवैध ऋणों से पहले ही मुक्त कराया गया है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि कोरोना टीकाकरण अभियान के संबंध में 14 जनवरी को दोपहर 12:00 बजे वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से सभी जिलों के क्राइसिस मैनेजमेंट ग्रुप, धर्मगुरुओं, सामाजिक संगठनों, जन-प्रतिनिधियों आदि से चर्चा करेंगे। सभी के सहयोग से इस अभियान को सफलता से प्रदेश में संचालित किया जाएगा।
कोरोना वैक्सीनेशन के प्रथम चरण में 4 लाख 16 हजार स्वास्थ्य कर्मियों का पंजीयन किया गया है। इनमें सभी शासकीय स्वास्थ्य कर्मियों के साथ 85 हजार निजी स्वास्थ्य कर्मी भी शामिल हैं। इनके लिए हमें पहले 5 लाख डोज प्राप्त हो रहे हैं। इनमें 04 लाख 80 हजार कोविशील्ड वैक्सीन के तथा 20 हजार कोवैक्सीन के होंगे।
कोरोना वैक्सीनेशन के लिए फ्रंटलाइन वर्कर, जिनमें पुलिसकर्मी, सुरक्षाकर्मी, होमगार्ड, सफाई कर्मी आदि शामिल हैं, के पंजीयन का कार्य जारी है। पंजीयन की अंतिम तिथि 25 जनवरी है। इन वर्कर की संख्या लगभग 06 लाख होगी। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 16 जनवरी को पूरे देश में वैक्सीनेशन का एक साथ शुभारंभ करेंगे। मध्यप्रदेश के 302 टीकाकरण केंद्रों से कार्यक्रम की वेबकास्टिंग स्टग होगी। दो केंद्रों जे.पी. हॉस्पिटल, भोपाल तथा एमजीएम कॉलेज, इंदौर से सीधे संवाद भी हो सकेगा।
मध्यप्रदेश के चार स्टोर्स भोपाल, इंदौर, ग्वालियर एवं जबलपुर में 13 जनवरी की सुबह केंद्र से वैक्सीन मिलने की संभावना है, जो वायु मार्ग से आएगी। इसके बाद 24 घंटे के अंदर प्रदेश के सभी जिलों में वैक्सीन पहुँचा दी जाएगी। मध्यप्रदेश के पास 4.2 करोड़ वैक्सीन खुराक स्टोर करने की क्षमता है, जो पर्याप्त है। प्रदेश में टीकाकरण के लिए 28 हज़ार 365 वैक्सीनेटर बनाए गए हैं, जिनका प्रशिक्षण पूर्ण कर लिया गया है। प्रदेश में 1149 केंद्रों पर टीकाकरण होगा। टीकाकरण दल के अलावा हर केंद्र पर एक चिकित्सक भी तैनात रहेगा। प्रदेश के 42 जिलों में टीकाकरण का कार्य 5 दिन में तथा शेष जिलों में 4 दिन में पूरा कर लिया जाएगा।
मुख्यमंत्री ने कहा कि मध्य प्रदेश ग्रामीण ऋण मुक्ति विधेयक-2020 में वैध लाइसेंस धारी साहूकार द्वारा शासन की निर्धारित दरों पर ऋण देने पर कोई प्रतिबंध नहीं रहेगा। वे नियमानुसार ऋण देकर उसकी वसूली कर सकेंगे। साथ ही ऐसे किसान जो मजदूरों को अग्रिम/ऋण देते हैं, उन पर भी कोई बंधन नहीं रहेगा। चौहान ने कहा कि केंद्र प्रवर्तित प्रधानमंत्री सूक्ष्म खाद्य उन्नयन योजना मध्य प्रदेश में खाद्य प्र-संस्करण की अधोसंरचना तैयार करने में उपयोगी होगी। इसमें केंद्र तथा राज्य का अंश 60 एवं 40 होगा। इसके अंतर्गत प्रयोगशाला, वेयरहाउस, इनक्यूबेशन सेंटर, कोल्ड स्टोर्स आदि बनाए जाने पर कृषि उत्पादक समूह, स्व-सहायता समूह, सहकारी समितियों आदि को 35 प्रतिशत क्रेडिट लिंकेज प्रदान की जाएगी।