भोपाल। राज्यपाल रामनरेश यादव ने मध्यप्रदेश उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश जस्टिस शरद अरविंद बोबड़े को पद और गोपनीयता की शपथ दिलाई। राजभवन में आयोजित शपथ ग्रहण समारोह में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान भी मौजूद थे। इस मौके पर मुख्य न्यायाधीश श्री बोबड़े ने कहाकि सभी को न्याय दिलाना मेरी प्राथमिकता है। साथ ही सबसे बड़ी चुनौती भी यही है। जो लोग अदालत नहीं पहुंच पाते, उन्हें कानूनी सहायता दिलाने की मैं पुरजोर कोशिश करुंगा।
श्री बोबड़े को प्रदेश के 21 वें मुख्य न्यायाधीश के रूप में शपथ दिलाने के बाद राज्यपाल श्री यादव ने उन्हें गुलदस्ता भेंटकर बधाई दी। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने भी मंच पर जाकर नव नियुक्त चीफ जस्टिस को गुलदस्ता भेंटकर बधाई दी। कार्यक्रम में पूर्व चीफ जस्टिस के के लाहोटी, महाधिवक्ता आरडी जैन, रजिस्ट्रार सुभाष काकड़े भी विशेष रूप से मौजूद थे। कार्यक्रम का संचालन प्रदेश के मुख्य सचिव आर परशुराम ने किया। शपथ लेने के बाद मीडिया से चर्चा करते हुए नव नियुक्त चीफ जस्टिस श्री बोबड़े ने मध्यप्रदेश की तारीफ करते हुए कहाकि यहां आकर मुझे काफी अपनापन लगा। ऐसा लगा जैसे अपने घर आया हंू। वैसे भी यहां जितने भी सीजे रहे हैं वे नागपुर से थे, इससे मैं भी मप्र से अंजान नहीं हूं। श्री बोबड़े ने एक सवाल के जवाब में कहाकि दूरस्थ गांव के लोगों को अभी भी कानूनी सहायता नहीं मिल पाती। इसके लिए मैं प्रयास करूंगा। न्यायिक क्षेत्र में लोक अदालतों की जरूरत पर जोर देते हुए श्री बोबड़े ने कहाकि मध्यप्रदेश का इस मामले में वल्र्ड रिकार्ड है। जस्टिस लाहोटी के कार्यकाल में यहां एक दिन में 12 लाख प्रकरणों का निराकरण किया गया। लंबित मामलों की अधिकता और उनके निराकरण से जुड़े सवाल को चीफ जस्टिस ने बहुत ही पेंचीदगी भरा बताया। उनका कहना है कि इस मामले में सभी के साथ बैठकर तय किया जाएगा। वहीं भोपाल में हाईकोर्ट बैंच की स्थापना के मुद्ïदे को टालते हुए श्री बोबड़े ने इसे नीतिगत मामला बताया। मां ने खिलाई मिठाई : नव नियुक्त मुख्य न्यायाधीश के शपथ ग्रहण समारोह में शामिल होने श्री जस्टिस बोबड़े की मां मुक्ता, पत्नी रंजना सहित भाई एवं पुत्र एवं भोपाल निवासी कई परिजन भी आए थे। शपथ लेने के बाद मंच से नीचे आए श्री बोबड़े को मां मुक्ता ने मिठाई खिलाकर बधाई दी। केवल तीन मंत्री पहुंचे : इस समारोह में प्रदेश के वित्त मंत्री राघवजी, कृषि मंत्री रामकृष्ण कुसमारिया, जगन्नाथ सिंह एवं महापौर कृष्णा गौर ही शामिल हुए। इस मौके पर बड़ी संख्या में प्रशासनिक अधिकारी, न्यायाधीश, बार कौंसिल के सदस्य एवं अधिवक्ता बड़ी संख्या में शामिल हुए।