भोपाल। प्रदेश युवा कांग्रेस के अध्यक्ष का चयन 70 हजार युवा करेंगे। इन युवाओं को इसमें वोट देने की पात्रता होगी। वहीं, प्रदेश युवा कांग्रेस का अध्यक्ष के चुनाव में पर्द के पीछे से पीसीसी चीफ कमलनाथ और पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह का दखल होगा। इन दोनों नेताओं की ही सहमति से अध्यक्ष के चुनाव में युवा नेता उतरेंगे।
अध्यक्ष की उम्मदवारी से अध्यक्ष के साथ ही उपाध्यक्ष का भी चुनाव होगा। जिसे सबसे ज्यादा वोट मिलेंगे वह अध्यक्ष बनेगा। जबकि इसके बाद के क्रम में वोट पाने वाले उपाध्यक्ष होंगे। उपाध्यक्ष के लिए दो सामान्य वर्ग के लिए पद हैं। वहीं एक महिला को उपाध्यक्ष और एक पद एससी/ एसटी के लिए इसमें आरक्षित रखा गया है। प्रदेश अध्यक्ष के चुनाव में युवा कांग्रेस के सदस्य का जन्म एक जनवरी 1983 से 31 दिसंबर 1991 के बीच है वहीं हिस्सा ले सकेंगे।
महासचिव के लिए भी इसमें वोटिंग होगी। इसमें एक जनवरी 1983 से 31 जनवरी 2000 तक के बीच जन्मा युवा नेता महासचिव के पद पर चुनाव लड़ सकेंगे। इसमें भी आरक्षण दिया गया है। इसमें पांच पद सामान्य वर्ग के लिए रखे गए हैं। जबकि एक एससी-एसटी, एक ओबीसी,एक अल्पसंख्यक, एक महिला, एक महिला एससी-एसटी के लिए आरक्षित रखा गया है। महासचिव के पद भराने के बाद सचिव के पद पर भी चयन कम वोट पाने वालों से किया जाएगा।
प्रदेश युवा कांग्रेस अध्यक्ष का चयन भले ही चुनाव से प्रदेश में होता रहा हो, लेकिन इसमें पर्द के पीछे दिग्विजय सिंह की भूमिका हमेशा महत्वपूर्ण रही। पूर्व मंत्री प्रियव्रत सिंह को प्रदेश युवा कांग्रेस के अध्यक्ष का चुनाव जीताने में दिग्विजय सिंह की महत्वपूर्ण भूमिका रही थी, प्रियव्रत सिंह के बाद कुणाल चौधरी को जीताने में भी दिग्विजय सिंह की ही महत्वपूर्ण भूमिका थी। इस बार भी यही माना जा रहा है कि दिग्विजय सिंह की ही भूमिका महत्वपूर्ण होगी, लेकिन इस बार कमलनाथ के प्रदेश अध्यक्ष रहते हुए उन्हें नजरअंदाज नहीं किया जा सकता। उनकी भूमिका भी इस चुनाव में दिखाई देगी।
विपिन वानखड़े, सिद्धार्थ कुशवाह, विक्रांत भूरिया, अजीत बोरासी, संजय यादव, शशांक दुबे, विवेक त्रिपाठी प्रदेश युवा कांग्रेस अध्यक्ष बनने की दौड़ में शामिल माने जा रहे हैं। इन युवाओं ने युवा कांग्रेस के हजारों सदस्य बनाए हैं। बताया जाता है कि कमलनाथ और दिग्वियज सिंह से ये सभी अलग-अलग मुलाकात करेंगे।