ग्वालियर। राजघराने में जन्म लेकर भी राजमाता विजयाराजे सिंधिया संघर्ष का पर्याय बन गर्इं। उनका सारा जीवन हम सभी का पथ प्रदर्शन करता रहेगा। यह बात मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने आज राजमाता जन्म शताब्दी समारोह के समापन अवसर पर यहां बंधन वाटिका पर आयोजित समारोह को संबोधित करते हुए कही।

अपने उद्बोधन में सीएम ने कहा कि जब भी जनता को कोई परेशानी आई तो सरकार से पहले पहुंचकर उन्होंने लोगों की सेवा की। देश की राजनीति में राष्टÑवादी विचारधारा के रुप में जनसंध से लेकर भारतीय जनता पार्टी को खड़ा करने में उनका अमूल्य योगदान रहा है।

पार्टी को वटवृक्ष के रुप में खड़ा करने के लिए उन्होंने पूर्व प्रधानमंत्री अटलविहारी बाजपेयी और कुशाभाऊ ठाकरे के साथ कं धे से कंधा मिलाकर काम किया। इस मौके पर मुख्यमंत्री ने राजमाता के जीवन पर आधारित प्रदर्शनी का भी शुभारंभ किया। इससे पहले सभी नेताओं ने थीम रोड स्थित छत्री परिसर स्थित राजमाता की समाधि पर पहुंचकर पुष्पांजलि अर्पित की।
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए केन्द्रीय मंत्री नरेन्द्र सिंह तोमर ने कहा कि राजमाता न केवल हमारी मार्गदर्शक और प्रेरणा स्त्रोत थीं बल्कि वह स्नेह, ममता, त्याग और समर्पण की प्रतिमूर्ति थीं। सांसद सिंधिया ने कहा कि अम्मा महाराज की जीवन हमेशा महिलाओं और युवाओं को प्रेरणा देता रहेगा। यह मेरा सौभाग्य है कि मैं उनके वंश से हूं। उनका जीवन हमेशा मुझे जनता के लिए संघर्ष करने की प्रेरणा देता रहेगा। कार्यक्रम को भाजपा के वरिष्ठ नेता प्रभात झा, सांसद विवेक नारायण शेजवलकर और पूर्व मंत्री श्रीमती मायासिंह ने भी संबोधित किया।

छत्री परिसर में आज बुआ (यशोधरा राजे) और भतीजे (ज्योतिरादित्य) करीब 15 मिनट तक भीड़ से अलग चर्चा करते रहे, जिसको लेकर राजनीति के गलियारों में नए समीकरणों के आगाज से जोड़कर देखा जा रहा है। इस दौरान यशोधरा राजे के बेटे अक्षय ने ज्योतिरादित्य के पांव छूए तो उन्होंने उसके कंधे को थपथपाते हुए गर्मजोशी से गले लगा लिया।

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