शिवपुरी। मध्यप्रदेश के शिवपुरी जिले में भ्रष्टाचार का एक बड़ा मामला सामने आया है। दर्रोनी पंचायत में एक आदिवासी महिला 5 साल पहले सरपंच बनी थी। सरपंच बने हुए महिला को 5 साल हो गए हैं, क्षेत्र के विकास के लिए सरकार ने लाखों रुपये के फंड दिए हैं। महिला सरपंच को पता ही नहीं है कि उसका काम क्या है। पंचायत में विकास के लिए आ रहे पैसों को निकाल कौन रहा है। वह आज भी 100-150 रुपये की मजदूरी कर परिवार का पेट भर रही है।

मामला सामने आने के बाद जिले के अधिकारियों के होश उड़ गए हैं। साथ ही यह सवाल भी उठ रहा है कि इतने दिनों तक अधिकारियों को खबर कैसे नहीं लगी। बिना सरपंच के साइन किए ही उसके नाम से सरकारी फंड के लाखों रुपये निकल रहे हैं। दरअसल, यह मामला शिवपुरी जिला मुख्यालय से महज 6 किलोमीटर दूर दर्रोनी पंचायत का है।

महिला सरपंच पिस्ता पेट भरने के लिए गांव में ही अभी प्याज बीनने का काम कर रही है। इसके एवज में सरपंच को हर दिन 100-150 रुपये मजदूरी के मिलते हैं। उसके क्षेत्र में कुछ जालसाजों ने अधिकारियों की मिली भगत से काम करवाए हैं और सरकारी राशि निकाल ली हैं। वहीं, महिला सरपंच पिस्ता को पता ही नहीं है कि उसकी आईडी और डिजिटल हस्ताक्षर से पंचायत में फर्जी काम हो रहे हैं। साथ ही लाखों रुपये की निकासी हो रही है।

ग्राम दर्रोनी की सरपंच पिस्ता आदिवासी और उसके पति ने बताया कि हमें कुछ पता ही नहीं है। हम तो केवल नाम के सरपंच हैं, सरपंच बने हुए सालों बीत गए हैं, उसके बाद भी हमें ये नहीं पता कि पंचायत में क्या हो रहा है।

वहीं, पंचायत सचिव कमल से पूछने पर जवाब देता है कि कोई काम नहीं है। पंचायत में सचिव की मिली भगत से पंचायत में विकास कार्यों के नाम पर लाखों रुपये का घपला किया गया है। दूसरी तरफ महिला सरपंच और उसका पति दोनों रोजी रोटी के लिए दूसरों के खेतों में काम कर अपना जीवन यापन कर रहे हैं।

मध्यप्रदेश में बाहर से आए मजदूरों को सरकार मनरेगा के तहत काम दे रही है। लेकिन शिवपुरी के दर्रोनी पंचायत में सरपंच ही बेरोजगार हैं, तो लोगों को काम कौन देगा। सरपंच ने कहा कि चुनाव से जीतने से पहले तक मेरा जॉब कॉर्ड था। बाद में रद्द हो गया। अब हम दोनों को ही दूसरे के यहां काम करना पड़ रहा है।

मामला सामने आने के बाद शिवपुरी जिला पंचायत के सीईओ एचपी वर्मा ने कहा कि इसे लेकर एक कमेठी गठित कर दी गई। कमेठी इस पूरे मामले की जांच करेगी। जांच रिपोर्ट आने के बाद कार्रवाई की जाएगी।

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