पाथ इंडिया समूह के मालिक पुनीत अग्रवाल सहित 6 की लिफ्ट टूटने से मौत
इंदौर। मध्यप्रदेश के इंदौर संभाग के महू में पातालपानी के फार्म हाउस में लिफ्ट टूटने से मंगलवार को पाथ इंडिया समूह के एमडी पुनीत अग्रवाल और उनके परिवार के पांच लोगों की मौत हो गई। नए साल का जश्न मनाने के दौरान शाम करीब छह बजे वे लिफ्ट से नीचे आ रहे थे, तभी हादसा हुआ। अग्रवाल देश-विदेश में पुल और सडक बनाने वाले पाथ समूह के एमडी और टोल प्लाजा के संचालक थे। अग्रवाल के फार्म हाउस में बनी पांच मंजिला इमारत के लिए अस्थायी ओपन लिफ्ट बनाई गई थी। पुनीत सहित परिवार के सात लोग लिफ्ट से नीचे आ रहे थे। अचानक लिफ्ट टूटी और सभी करीब 60 फीट ऊंचाई से नीचे गिर गए। घायल हालत में सभी को महू स्थित मेवाडा अस्पताल लाया गया।
अस्पताल पहुंचने तक पुनीत, उनके दामाद पलकेश और पोते नव की मौत हो चुकी थी। पुनीत की बेटी पलक, रिश्तेदार गौरव और आर्यवीर को इंदौर के चोइथराम अस्पताल रेफर किया गया, जहां इनकी भी मौत हो गई। गंभीर घायल निधि का इलाज चल रहा है। मूलतः महू के रहने वाले पुनीत अग्रवाल देशविदेश में कंस्ट्रक्शन का काम करते थे। नए साल का जश्न मनाने के लिए पूरा परिवार फार्म हाउस में इकट्ठा हुआ था। उस वक्त यहां लगभग 25 लोग थे। दो पहाडियों के बीच स्थित फार्म हाउस को रोशनी से सजाया गया था। बडगोंदा पुलिस के अनुसार, फार्म हाउस के अंदर हाल ही में लिफ्ट लगाई गई थी। इसकी ऊंचाई 17 मीटर थी। यह ट्रायल पीरियड में थी। पुलिस ने घटनास्थल को सील कर दिया।
एएसपी ग्रामीण धर्मराज मीणा ने बताया कि घटना लापरवाही की वजह से हुई है। लिफ्ट ट्रायल पर होने के साथ ही ओवरलोड थी। लिफ्ट टूटने से यह हादसा हुआ है। मौके की जांच चल रही है।
पाथ इंडिया कंस्ट्रक्शन कंपनी का काम कितना फैला हुआ था। कंपनी में लगभग पांच हजार अधिकारी-कर्मचारी काम करते हैं। घटना के तुरंत बाद एक हजार से ज्यादा लोग अस्पताल में इकट्ठा हो गए थे।
प्रकाश एस्फॉल्टिंग्स एंड टोल हाईवे इंडिया लिमिटेड यानी पाथ इंडिया के मैनेजिंग डायरेक्टर पुनीत अग्रवाल की गिनती देश के उन कॉन्ट्रैक्टर में होती है जिन्हें पीपीपी मॉडल का पायोनियर कहा जाता है। जब सरकारों ने पीपीपी मॉडल लॉन्च किए तो पुनीत अग्रवाल जैसे चुनिंदा लोग ही थे जो आगे आए और इस प्रोजेक्ट पर काम शुरू किया। उनकी कंपनी का नाम देश की अग्रणी कंपनियों में शामिल था। उनकी कंपनी पाथ इंडिया बीओटी, ओएमटी बेसिस पर सड़क, पुल और टोल परियोजनाओं के निर्माण, रखरखाव और संचालन में देश में पहले नंबर पर है। सिंहस्थ 2004 के समय इंदौर में एमआर-10 पर पीपीपी प्रोजेक्ट के तहत पहला रेलवे ओवरब्रिज बनाने वाले पुनीत ने बाद में सबसे महती योजना इंदौर-खलघाट नेशनल हाईवे का काम किया। उनकी कंपनी अब तक 2700 लेन हाईवे और करीब 3000 हाईवे बना चुकी है। यह आठ राज्यों में 250 से अधिक टोल लेन पर काम कर रही है।
भाजपा के राष्ट्रीय महासचिव कैलाव विजयवर्गीय ने कहा कि मैं अभी द्वारिका में हूं। यहां मुझे इस दुखद घटना की जानकारी मिली है। उनके परिवार के छह लोगों की मौत हुई है। मेरे बेटे विधायक आकाश विजयवर्गीय अभी वहीं मौजूद हैं। पुनीत अग्रवाल अच्छे समाजसेवी, अच्छे व्यवसायी और दोस्त थे। मेरे उनके पारिवारिक संबंध थे। वर्ष 2004 में सिंहस्थ के दौरान महू-मंडलेश्वर रोड उन्होंने ही बनवाई थी, जिसकी बदौलत आज जाम गेट तक लोग आसानी से जा पाते हैं। इसके अलावा एमआर 10 पर पहला रेलवे ओवरब्रिज, महती परियोजना इंदौर-खलघाट नेशनल हाईवे में भी उनका योगदान रहा है। साथ ही जयपुर-रींगस के बीच फोरलेन रोड, झांसी-उरई रोड, आगरा-ग्वालियर रोड जैसे कई नेशनल हाईवे के काम किए हैं। दरअसल, पुनीत ऐसे कॉन्ट्रैक्टर थे, जो किसी भी अटके हुए प्रोजेक्ट को पूरा करते थे। जो काम कोई नहीं कर सकता था उसे पुनीत पूरा कर देते थे।