भोपाल। मध्य प्रदेश के अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री नागर सिंह चौहान ने सोमवार को वन एवं पर्यावरण विभाग से हटाए जाने के बाद अपने पद से इस्तीफा देने की धमकी दी है। वन एवं पर्यावरण विभाग मंत्रिपरिषद के नये सदस्य रामनिवास रावत को आवंटित किया गया है जो गत अप्रैल में कांग्रेस को छोड़कर भाजपा में शामिल हुए थे। चौहान ने कहा कि अगर पार्टी संगठन के नेता उनकी चिंताओं पर ‘सकारात्मक’ प्रतिक्रिया देने में विफल रहे तो रतलाम से सांसद उनकी पत्नी अनीता सिंह चौहान भी इस्तीफा दे देंगी। नागर सिंह को पूर्व सीएम शिवराज सिंह चौहान का करीबी माना जाता हैं।

नागर के पास मौजूद वन एवं पर्यावरण मंत्रालय रविवार को रावत को आवंटित कर दिया गया। प्रमुख आदिवासी नेता चौहान ने कहा, ‘‘मेरी आवाज नहीं सुनी गई। मैं पहले संगठन के नेताओं से बात करूंगा और अगला कदम तय करूंगा। मैं पार्टी संगठन से बात करने के बाद एक या दो दिन में फैसला करूंगा। अगर मुझे लगता है कि मुझे पद पर नहीं रहना चाहिए, तो मैं अपनी पत्नी अनीता के साथ इस्तीफा दे दूंगा।’’

उन्होंने कहा कि मध्य प्रदेश में आदिवासियों की आबादी 23 प्रतिशत है। चौहान ने कहा, ‘‘यह पहली बार है जब आदिवासियों को नेतृत्व दिया गया है, लेकिन वन विभाग (जो आदिवासियों से बहुत जुड़ा हुआ है) को मुझसे छीनकर कांग्रेस से आए एक नेता को दे दिया गया है। मुझे नहीं लगता कि यह मेरे या पार्टी कार्यकर्ताओं के लिए फायदेमंद है।’’ मंत्री ने दावा किया कि उन्होंने रविवार रात पार्टी नेताओं के साथ इस मुद्दे पर चर्चा की और इस चर्चा को जारी रखने की योजना बनाई है। चौहान ने कहा, ‘‘अगर वे चाहते हैं, तो मैं उनसे बात करूंगा। अगर वे नहीं चाहते हैं तो कोई बात नहीं।’’

श्योपुर जिले के विजयपुर से छह बार विधायक रहे रामनिवास रावत 30 अप्रैल को लोकसभा चुनाव प्रचार के दौरान कांग्रेस छोड़कर भाजपा में शामिल हुए। आठ जुलाई को कैबिनेट मंत्री के रूप में शामिल किए जाने के कुछ दिनों बाद रविवार को एक अधिसूचना जारी की गई जिसमें कहा गया कि रावत को वन एवं पर्यावरण विभाग आवंटित किया गया है।