बोन: अमेरिका की एक शीर्ष प्रतिनिधि ने अंतरराष्ट्रीय पर्यावरण वार्ता में आज कहा कि हालांकि ट्रंप प्रशासन ग्लोबल वार्मिंग से निपटने के संबंध में पेरिस समझौते से पीछे हटने की योजना अब भी बना रहा है, लेकिन अमेरिका ग्रीनहाउस गैसों का उत्सर्जन कम करने को लेकर प्रतिबद्ध है. इस बीच, ब्रिटेन और कनाडा ने नए गठबंधन की घोषणा की है जिसका लक्ष्य जलवायु परिवर्तन से निपटने के लिए कोयले का इस्तेमाल रोकने के लिए देशों को प्रोत्साहित करना है. ‘पावर पास्ट कोल’के वैश्विक गठबंधन में फिनलैंड, फ्रांस, इटली, मेक्सिको, न्यूजीलैंड और कई अमेरिकी राज्य और कनाडाई प्रांत शामिल हैं.

अमेरिकी विदेश मंत्रालय की जूडिथ गार्बर ने पेरिस जलवायु समझौते की तकनीकी जानकारियां तैयार करते हुए सम्मेलन के समापन के दौरान कहा,‘‘अमेरिकी लोगों के लिए अधिक अनुकूल शर्तें होने पर हमने बाद में (पेरिस जलवायु समझौते) शामिल होने की संभावना खुली रखी है. महासागर, अंतरराष्ट्रीय पर्यावरणीय एवं वैज्ञानिक मामलों की कार्यवाहक विदेश मंत्री गार्बर ने कहा कि पेरिस समझौते को लेकर अमेरिका की शंका के बावजूद‘‘अमेरिका स्वच्छ ऊर्जा एवं नवोन्मेष के क्षेत्र में नेतृत्व करना जारी रखेगा और वह ऊर्जा प्रणालियों में बदलाव की आवश्यकता को समझता है.

’’उन्होंने कहा, ‘‘हम स्थायी ऊर्जा एवं ऊर्जा दक्षता पर नवोन्मेष बढ़ाने समेत अन्य माध्यमों से ग्रीनहाउस गैस उत्सर्जन को कम करने और ग्रीनहाउस गैस उत्सर्जन कम करने वाली ऊर्जा प्रणालियों की दिशा में काम करने के लिए सामूहिक रूप से प्रतिबद्ध हैं. ’हालांकि गार्बर का यह बयान अनपेक्षित नहीं था लेकिन उनका लहजा पहले से अधिक समझौताकारी प्रतीत हो रहा था. अमेरिका जर्मनी के बोन में वार्ता के दौरान पेरिस समझौते को नकारने के मामले में काफी हद तक अलग थलग पड़ गया है. इस वार्ता के आज समाप्त होने की संभावना है.

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