ग्वालियर। मध्यप्रदेश के ग्वालियर जिला न्यायालय ने एक कलयुगी पिता और भाई को उम्र कैद और 14 साल की सजा से दंडित किया है । दरअसल 12 साल की नाबालिग लड़की की शिकायत पर 2013 में ग्वालियर के इंदरगंज पुलिस स्टेशन में उसके पिता और भाई के खिलाफ दुष्कर्म करने और धमकाने का मामला दर्ज किया गया था। मामला लड़की के परिजनों से जुड़ा था इसलिए पुलिस ने अपना शक दूर करने और तथ्यात्मक दस्तावेज चालान के साथ कोर्ट में पेश करने के लिए लड़की का डीएनए कराया था। डीएनए रिपोर्ट में परिजनों द्वारा दुष्कर्म की पुष्टि होने के बाद इस मामले में पंचम अपर सत्र न्यायाधीश पास्को एक्ट अदालत अर्चना सिंह ने दोषी पिता को उम्र कैद की सजा से दंडित किया है और उसके भाई को 14 साल के सश्रम कारावास की सजा से दंडित किया है। न्यायालय ने पिता-पुत्र पर दस दस हजार रुपए का अर्थदंड भी लगाया है।

ग्वालियर जिला न्यायालय के शासकीय अधिवक्ता अनिल मिश्रा ने बताया कि खास बात यह है कि नाबालिग लड़की की मां का देहांत बचपन में ही हो गया था। पांचवीं में पढ़ने के दौरान एक दिन घर में उसके पिता ने नशे की हालत में अपनी लड़की को हवस का शिकार बना लिया इसके बाद पिता लगातार लड़की के साथ दुष्कर्म करता रहा 1 दिन भाई ने भी पिता की हरकत देख अपनी बहन का बलात्कार कर दिया । कई दिनों तक लड़की पिता और भाई की हरकत को छुपाए रही लेकिन जब उसे परेशानी होने लगी तो उसने चचेरे भाई और भाभी को घटना से अवगत कराया लड़की की कहानी सुन चचेरे भाइयों भाभी ने उसे ले जाकर थाने में शिकायत दर्ज कराई इंदरगंज पुलिस ने इस मामले में पास्को एक्ट अदालत में दोनों आरोपियों के खिलाफ चालान पेश किया जिसमें दुष्कर्मी पिता और भाई को यह सजा सुनाई गई है। न्यायालय का यह भी कहना था कि जब संरक्षण दाता ही बेटियों का भक्षण करने लगे तो फिर उन्हें कैसे बचाया जाए । इसलिए समाज को कड़ा संदेश देने के लिए यह सजा जरूरी है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *