मुंबई। बॉलीवुड अभिनेत्री भूमि पेडनेकर का कहना है कि वह कोई ‘एक्सीडेंटल’ अभिनेत्री नहीं हैं और उनकी यात्रा सर्वाइवल की रही है। अभिनेत्री ने कहा, “पांच साल हो गए हैं और यह अभी भी एक सपने जैसा लगता है। मैं कोई एक्सीडेंटल अभिनेत्री नहीं हूं और मैं यह बार-बार कहती हूं। यह कुछ ऐसा है जो मैं वास्तव में करना चाहती थी और मैंने यहां रहने के लिए वास्तव में कड़ी मेहनत की है। मैं मुंबई में पैदा हुई और यही पली-बढ़ी हूं, और निश्चित रूप से इस चीज ने मेरी मदद की है, क्योंकि शहर की सपोर्ट सिस्टम कहीं न कहीं मेरे लिए अनुकूल था और यह हमारी हिंदी फिल्म उद्योग का शहर है, ऐसे में यह आपकी यात्रा को थोड़ा आसान बनाती है।
उन्होंने आगे कहा, “हालांकि, मैं एक पारंपरिक फिल्मी परिवार से नहीं हूं या मेरा वास्तव में कोई संपर्क नहीं था, मैं पहली बार में बहुत उलझन में थी कि इसको कैसे आगे बढ़ाना है?” भिनेत्री ने कहा कि उन्हें अपने माता-पिता को समझाना पड़ा कि वह एक अभिनेत्री बनना चाहती हैं। उन्होंने बीती बातों को याद करते हुए कहा, “मुझे इसके बारे में अपने माता-पिता से बात करने के लिए बहुत हिम्मत जुटानी पड़ी थी। वे बहुत खुश नहीं थे और मुझे लगता है कि वे सुरक्षात्मक हो रहे थे। इसलिए, मैंने फिल्म स्कूल में शामिल होने का फैसला किया और शुल्क महंगा था, इसलिए मैंने ऋण लिया।
अभिनेत्री ने अपनी शुरुआत कास्टिंग सहायक के तौर पर की। उन्होंने कहा, “जब मैं कास्टिंग कर रही थी, तो मेरा इरादा ऐसा कुछ नहीं था कि मुझे एक अभिनेत्री बनना है और इसके लिए जानकारी जुटानी है। मैं इसे सिर्फ एक फिल्ममेकिंग स्टूडेंट के रूप में देख रही थी। मुझे ऐसा लगता था कि जैसे मैं इस दुनिया का हिस्सा बनना चाहती हूं, भले ही कोई भी दरवाजा खुले। और मेरे सर्वाइवल यानी अस्तित्व की यही कहानी है। मैंने सिर्फ ‘दम लगा के हइशा’ (2015 की उनकी पहली फिल्म) तक सर्वाइव किया। मैं भाग्यशाली थी कि मुझे ये अवसर मिलता रहा।”