भोपाल तीर्थ-दर्शन योजना में राजस्थान का जैसलमेर स्थित प्रसिद्ध तीर्थ-स्थल रामदेवरा भी जोड़ा जायेगा। अब प्रत्येक भेजी जा रही ट्रेन में प्रथम अथवा द्वितीय श्रेणी राजपत्रित अधिकारी भी यात्रियों की देखरेख और व्यवस्था के लिये भेजा जायेगा। मुख्यमंत्री श्री शिवराजसिंह चौहान ने तीर्थ-दर्शन योजना के अब तक के अनुभव के आधार पर बुजुर्ग यात्रियों की सुविधा में अपेक्षित सुधार के निर्देश दिये हैं।
श्री चौहान ने आज यहाँ मुख्यमंत्री तीर्थ-दर्शन योजना की समीक्षा की। बैठक में निर्णय लिया गया कि प्रदेश के सभी क्षेत्रों से बुजुर्ग यात्रियों को समान रूप से भेजने के लिये विकासखण्ड स्तर पर यात्रियों का लाटरी निकाल कर चयन किया जायेगा। नगरीय क्षेत्र से जोनवार लाटरी निकाली जायेगी। जिन नगरीय क्षेत्रों में जोनल व्यवस्था नहीं है वहाँ 4-5 वार्ड को मिलाकर तीर्थ-दर्शन के लिये जोन गठित किया जायेगा। मुख्यमंत्री ने निर्देश दिये कि यात्रा में जाने वाले अधिकारी प्रत्येक ट्रेन का प्रतिवेदन प्रस्तुत करें। बुजुर्ग यात्रियों के भोजन और चिकित्सा की व्यवस्था भी देखें। मुख्यमंत्री ने कहा कि बुजुर्ग यात्रियों की सुविधा को ध्यान में रखते हुए सामान्य दिनों में तीर्थ-स्थल भेजा जाय। भारी भीड़ के दिनों में सुविधाजनक दर्शन वाले तीर्थ- स्थलों में भेजने की व्यवस्था की जाय। यह भी सुनिश्चित किया जाये कि भेजे जा रहे प्रत्येक यात्री को आवश्यक रूप से तीर्थ-दर्शन हो जाय।
बैठक में बताया गया कि वर्ष 2012-13 में 60 हजार यात्री के लक्ष्य के विरूद्ध 82 हजार वरिष्ठ नागरिक को तीर्थाटन करवाया गया। इसी तरह वर्ष 2013-14 में 80 हजार यात्री के लक्ष्य के विरूद्ध 98 हजार बुजुर्ग तीर्थ-यात्री विभिन्न तीर्थ-स्थलों पर भेजे गये। इस वर्ष अब तक लगभग 17 हजार तीर्थ-यात्री को लेकर 17 ट्रेन विभिन्न तीर्थ-स्थल पर भेजी जा चुकी हैं।
बैठक में योजना को और अधिक बेहतर बनाने के लिये सुझाव दिये गये। मुख्य सचिव श्री अंटोनी डिसा, प्रमुख सचिव धार्मिक न्यास एवं धर्मस्व श्री मनोज श्रीवास्तव और मुख्यमंत्री के प्रमुख सचिव श्री इकबाल सिंह बैंस भी उपस्थित थे।