भोपाल ! प्रदेश कांग्रेस में बार फिर राजसी घरानों का दबदबा बढ़ने लगा है। कांग्रेस में हाल ही कांग्रेस महासचिव दिग्विजय सिंह के छोटे भाई लक्ष्मण सिंह को पार्टी में प्रवेश दिया गया है। लक्ष्मण सिंह वर्ष 2003 में विधान सभा चुनाव में कांग्रेस की पराजय के बाद भाजपा में चले गये थे और उन्होने भाजपा के टिकट पर राजगढ़ संसदीय क्षेत्र से चुनाव भी लड़ा और विजयी रहे थे।
वर्ष 2009 के लोकसभा चुनाव में उन्होंने एक बार फिर राजगढ़ संसदीय क्षेत्र से भाजपा टिकट पर भाग्य आजमाया लेकिन दिग्विजय सिंह के विरोध के चलते उन्हें चुनाव में विजय प्राप्त नहीं हो सकी। चुनाव में पराजित होने के बाद वह स्वयं भाजपा में उपेक्षित महसूस करने लगे तथा उन्होंने पुन: कांग्रेस में प्रवेश के लिये प्रयास शुरू कर दिये। दिग्विजय ने अपने छोटे भाई के पार्टी में प्रवेश के लिये भरपूर मदद की और अंतत: लगभग दो माह पूर्व वे अपने प्रयास में सफल भी हुए। लक्ष्मण सिंह ने इस साल के शुरू में प्रदेश कांग्रेस कार्यालय पहुंचकर पार्टी की सदस्यता ग्रहण की और कहा कि पार्टी उन्हें जो भी आदेश देगी उसे वह पूरा करेंगे। लक्ष्मण सिंह के समान ही पूर्व केन्द्रीय मंत्री अर्जुन सिंह की पुत्री वीणा सिंह को भी इसी माह कांग्रेस में प्रवेश दे दिया गया।
वीणा सिंह ने वर्ष 2009 के चुनाव में सीधी से टिकट मांगा था और उनके पिता दिवंगत अर्जुन सिंह ने भी इसके लिये जीतोड़ प्रयास किये। लेकिन पार्टी द्वारा टिकट नहीं दिये जाने पर उन्होंने निर्दलीय उम्मीदवार के तौर पर चुनाव लड़ा था जिसके चलते वहां से न तो कांग्रेस जीत पायी थी और न ही वीणा सिंह को विजय मिल सकी थी। वीणा सिंह अपने पिता के निधन के बाद से ही कांग्रेस में आने के प्रयास में जुट गयीं थीं लेकिन विधान सभा में नेता प्रतिपक्ष उनके भाई अजय सिंह के विरोध के कारण उन्हें पार्टी में नहीं लिया गया। अब कांग्रेस महासचिव एवं प्रदेश संगठन प्रभारी बीके हरिप्रसाद के सहयोग से उन्हें पार्टी में प्रवेश दे दिया गया। प्रदेश कांग्रेस में योतिरादित्य सिंधिया, दिग्विजय सिंह, विधान सभा में नेता प्रतिपक्ष अजय सिंह आदि कांग्रेस में ऐसे सयि नेता हैं, जो कहीं न कहीं राजघरानों से संबंधित हैं। कांग्रेस के मीडिया विभाग के अध्यक्ष मानक अग्रवाल का कहना है कि ऐसा नहीं है कि प्रदेश कांग्रेस में राजघरानों को दबदबा बढ़ रहा है। उन्होंने कहा कि सभी कांग्रेस कार्यकर्ता के रूप में पार्टी को मजबूत बनाने में लगे हुए हैं।