नई दिल्ली। लोकसभा 2019 के चुनावों से पहले एनडीए के खिलाफ विपक्ष को एकजुट करने की मुहिम तेज हो गई है। पश्चिम बंगाल की सीएम ममता बनर्जी चार दिन के दिल्ली दौरे पर हैं। यहां वे सोनिया गांधी और शरद पवार समेत कई विपक्षी नेताओं से मुलाकात करेंगी। ममता के इस रुख को 2019 के लोकसभा चुनाव में नरेंद्र मोदी को रोकने की कवायद माना जा रहा है। 2019 में होने वाले आम चुनाव में मोदी सरकार का सामना करने के लिए कई सियासी दल मंगलवार को भी दिल्ली में एनसीपी नेता शरद पवार के घर पर डिनर में एकजुट होंगे।

ममता बनर्जी शदर पवार के अलावा सोनिया गांधी से भी मुलाकात करने वाली हैं
वह दिल्ली में अपने प्रवास के दौरान संसद भी जाएंगी। हालांकि उन्होंने मीडिया से कहा है कि वे अपने सांसदो से मुलाकात करने के लिए दिल्ली जा रही हैं। ममता बनर्जी शदर पवार के अलावा सोनिया गांधी से भी मुलाकात करने वाली हैं। आपको बता दें कि हाल ही में उत्तर प्रदेश और राजस्थान के चुनावों में भाजपा को मिली हार के बाद विपक्ष तेजी से एकजुट हुआ है। ममता ने हाल ही में टीआरएस के अध्यक्ष और तेलंगाना के सीएम से मुलाकात से की थी। दोनों नेताओं के बीच आगामी चुनाव में बीजेपी की अगुआई वाली सरकार को घेरने के लिए एक फेडरल फ्रंट बनाने पर बात हुई थी।

लोकसभा चुनाव की रणनीति तैयार करने की कोशिश
इससे पहले शरद पवार ने भी कांग्रेस समेत विपक्षी नेताओं की मीटिंग बुलाई थी ताकि अगले लोकसभा चुनाव की रणनीति तैयार की जा सके। मार्च में ही एनसीपी नेता प्रफुल्ल पटेल ममता से मिले थे और उन्हें बैठक के लिए आमंत्रित किया था। इसके आलावा ममता बनर्जी दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल से भी मुलाकात करेगी। ममता लंबे समय से गैरभाजपा मोर्चा की जगह गैरभाजपा-गैरकांग्रेस मोर्चा अर्थात तीसरा मोर्चा की प्रबल समर्थक रही हैं। उन्होंने इस कड़ी में शिवसेना, सपा, टीआरएस, टीडीपी, बीजेडी प्रमुखों से अलग-अलग समय में मुलाकात की है।

ममता हो सकती है थर्ड फ्रंट की सर्वमान्य नेता
हाल के दिनों में जिस तरह से राजनीतिक घटनाक्रम हुए हैं, उससे माना जा रहा कि तीसरे मोर्चे के अगुवा के रूप में ममता बनर्जी के नाम पर सभी की स्वीकार्यता बढ़ती जा रही है। कुछ दिनों पहले ही तेलंगाना के सीएम और टीआरएस नेता के. चंद्रशेखर राव कोलकाता जाकर ममता बनर्जी से मिले। इसके बाद यूपी के पूर्व सीएम और समाजवादी पार्टी के मुखिया अखिलेश यादव भी ममता बनर्जी से मुलाकात कर चुके हैं। ऐसा माना जा रहा है कि अगर तीसरे मोर्च की नींव रखी जाती है तो ममता बनर्जी इस मोर्चे की सर्वमान्य नेता होंगी।

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