ग्वालियर । कलेक्टर राहुल जैन ने कहा कि भोपाल केन्द्रीय जेल की घटना के बाद मध्यप्रदेश सरकार द्वारा जेलों की सुरक्षा के संबंध में जारी किए गए मेनुअल के अनुसार ग्वालियर केन्द्रीय जेल में भी सभी सुरक्षा उपाय सुनिश्चित किए जाएँ। इसके लिये लोक निर्माण विभाग द्वारा प्रस्तुत प्रोजेक्ट की प्रति के साथ जेल अधीक्षक को उनसे संपर्क करने के निर्देश दिए हैं। साथ ही उन्होंने कहा कि केन्द्रीय जेल में बंद कैदियों द्वारा उत्पादित सामग्री के विक्रय के लिये शहर में एक स्थायी काउण्टर उपलब्ध कराया जायेगा। जिससे उनके द्वारा उत्पादित माल को बेहतर बाजार प्राप्त हो सकेगा। उन्होंने यह निर्देश शुक्रवार को केन्द्रीय जेल के भ्रमण के दौरान जेल अधीक्षक एन पी सिंह को दिए हैं।
जैन ने कहा कि शासन की मंशा अनुरूप केन्द्रीय कारागार को सुधारगृह का स्वरूप प्रदान किया जाना चाहिए। समाज के विभिन्न वर्गों से आने वाले कैदियों की प्रतिभा को प्रोत्साहित कर उन्हें नवजीवन प्रदान करने का काम इन सुधार गृहों के माध्यम से किया जा रहा है। जैन ने केन्द्रीय कारागार के कैदियों द्वारा तैयार की गई स्टेशनरी सामग्री, हथकरघा द्वारा बनाए गए फर्श, दरी, चादर तथा महिला कैदियों द्वारा तैयार किए गए कपड़ों और हस्तशिल्प सामग्री का अवलोकन किया। जैन ने कहा कि जो महिला कैदी इन कार्यों में रूचि रखते हैं उन्हें स्वयंसेवी संस्थाओं के माध्यम से प्रोत्साहित करना चाहिए। इसी क्रम में उन्होंने सतीश मेमोरियल शिक्षा समिति द्वारा महिला कैदियों को दिए जा रहे प्रशिक्षण की प्रशंसा भी की। कलेक्टर ने जेल की सुरक्षा व्यवस्था से लेकर कैदियों के भोजन, उनके रहने के स्थान और स्वास्थ्य सुविधाओं के विषय में भी विस्तार से जानकारी ली।
गौशाला में गोबर की लकड़ी और गौमूत्र का फिनाइल बनाया जाए
केन्द्रीय जेल के भ्रमण के दौरान कलेक्टर राहुल जेन ने जेल में संचालित सुरभि गौशाला का निरीक्षण किया। इस गौशाला में वर्तमान में 250 से अधिक गौधन उपलब्ध है। उन्होंने कहा कि इनके गोबर से लकड़ी तैयार करने तथा गौमूत्र से फिनाइल बनाने का प्रोजेक्ट तैयार किया जाए। जिससे केन्द्रीय जेल और कैदियों को अतिरिक्त आय प्राप्त हो सकती है।
आनंदम क्लब ने महिला कैदियों के बच्चों को बांटे खिलौने
कलेक्टर राहुल जैन ने केन्द्रीय जेल में स्थित महिला कैदी बैरक का भी मुआयना किया। उन्होंने केन्द्रीय जेल में बंद 119 महिला कैदियों से वहाँ की व्यवस्थाओं के संबंध में चर्चा की तथा आनंदम कार्यक्रम के तहत पंजीबद्ध आनंद क्लब टॉयज फॉर टॉट्स और मानवता चप्पल बैंक के माध्यम से महिला कैदियों के 6 वर्ष से कम उम्र के 15 बच्चों को टैडीवियर, बिस्किट, केले सहित अन्य फल वितरित किए और बच्चों को चप्पल भी पहनाईं गईं। इस अवसर पर आनंदम सहयोगी डॉ. सत्यप्रकाश शर्मा, जेलर प्रभात कुमार सहित अन्य अधिकारी उपस्थित थे।