भोपाल। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कलेक्टरों और मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारियों से कहा है कि कोरोना मुक्ति के लिए अधिक से अधिक सेंपल लिए जाएं। प्रदेश में 27 नार्मल लैब और 51 ट्रू नाट मशीनें हैं जिनसे 9 हजार सैंपल की जांच रोज की जा सकती है लेकिन इसकी आधी क्षमता का ही उपयोग हो रहा है। जिलों में जांच के लिए सैंपल ही नहीं आ रहे हैं। पचास फीसदी भी सैंपलिंग नहीं होने पर सीएम चौहान ने कलेक्टरों और सीएमएचओ से जांच सैंपल बढ़ाने को कहा है। सीएम चौहान ने जिला प्रशासन के अफसरों के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग में चर्चा करते हुए ये बातें कहीं। कोरोना की समीक्षा के दौरान बताया गया कि कोरोना उपचार के लिए जिलों में 24235 जनरल बेड, 8924 आक्सीजन बेड और 1105 आईसीयू बेड पूरे प्रदेश में उपलब्ध हैं। यह भी बताया गया कि प्रदेश में कुल कोरोना मामले 12078 दर्ज हुए हैं जिसमें से 232 एक्टिव केस हैं। सीएम की वीसी में देश के अन्य प्रांतों के साथ एमपी की समीक्षा कर बताया गया कि तुलनात्मक रूप से एमपी की स्थिति काफी अच्छी है। कोरोना से मौत की संख्या को छोड़कर शेष सभी घटकों में व्यापक सुधार और कमी आई है। इस मौके पर मंत्रालय में मंत्री डॉ. नरोत्तम मिश्रा, सीएस इकबाल सिंह बैंस, प्रमुख सचिव संजय शुक्ला समेत अन्य अधिकारी मौजूद रहे।
सीएम शिवराज ने आज जिन मसलों पर बिन्दुवार जिला प्रशासन के अफसरों से चर्चा की है, उसमें कानून व्यवस्था, ईज आॅफ डूइंग बिजनेस, प्रशासन में वित्तीय मितव्ययिता के पालन, स्वसहायता समूहों के सशक्तिकरण, सार्वजनिक वितरण प्रणाली, जल जीवन मिशन का क्रियान्वयन, लोक सेवाओं के प्रदाय के संबंध में कार्यवाही और बिजली बिलों में राहत के मसले शामिल हैं। इसके अलावा वनाधिकार पट्टों की निरस्तगी, आनलाइन दावे और निराकरण, मध्यप्रदेश इनोवेशन चैलेंज पोर्टल पर सुझाव दिए जाने, पंच परमेश्वर योजना, संबल योजना, पत्र विक्रेता उत्थान योजना, किसान क्रेडिट कार्ड योजना, टिड्डी दल आक्रमण तथा निपटने की योजना, ग्रामीण आबादी सर्वेक्षण योजना, खरीफ आदान की आवश्यकता तथा प्रबंध, रोजगार सेतु की प्रगति की समीक्षा, गरीब कल्याण रोजगार अभियान, विद्यालयों में गणवेश प्रदाय करने के संबंध में भी चर्चा की गई।