इम्फाल.प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को मणिपुर यूनिवर्सिटी में 105वीं इंडियन साइंस कांग्रेस की शुरुआत की। इस मौके पर उन्होंने कहा कि महान साइंटिस्ट स्टीफन हॉकिंग दो बार भारत आए, वो भारत के अच्छे दोस्त थे। उन्होंने कहा कि अच्छे साइंटिस्ट देश के लिए पावर हाउस की तरह हैं। इसस पहले मणिपुर पहुंचने पर गवर्नर नजमा हेपतुल्ला और मुख्यमंत्री एन. बिरेन सिंह ने उनका स्वागत किया। मोदी राज्य में कई प्रोजेक्ट की नींव रखेंगे। बता दें कि यहां बीजेपी गठबंधन वाली सरकार के एक साल पूरा होने के अगले दिन प्रधानमंत्री मणिपुर गए हैं।
भारत के लिए प्रेरणा स्रोत थे स्टीफन हॉकिंग
– मोदी ने कहा, ”दुनिया के महान साइंटिस्ट स्टीफन हॉकिंग दो बार भारत आए, वो भारत के अच्छे दोस्त थे। कॉस्मोलॉजी के स्टार थे। भारत के लिए एक तरह से प्रेरणा के स्रोत थे।”
– ”यह दूसरा मौका है, जब नॉर्थ-ईस्ट में साइंस कांग्रेस हो रही है। अच्छे साइंटिस्ट देश के लिए पावर हाउस की तरह हैं। इसीलिए आप सभी लोग यहां इकट्ठे हुए हैं। साइंस एंड टेक्नोलॉजी की मदद से लोगों का जीवन आसान हुआ है।”
– ”1944 में नेताजी सुभाष चंद्र बोस ने मणिपुर में रहते हुए आजादी के लिए लड़ाई शुरू की थी। आज साइंस से जुड़े लोगों के बीच वही जज्बा देखने को मिल रहा है। हमने किसानों को मौसम की जानकारी देने के लिए नॉर्थ-ईस्ट समेत देशभर में कई सेंटर बनाए हैं।”
देश के वैज्ञानिक इनोवेटिव टेक्नोलॉजी तलाशें
– मोदी ने आगे कहा, ”क्लाइमेट चेंज के लिए हमें सतर्क रखने की जरूरत है। हमने नेशनल बांबू मिशन के तहत बांस को घास की कैटेगरी में रखा है। ताकि इसे काटने में किसी को परेशानी न हो।”
– ”सीवी रमन समेत कई साइंटिस्ट से देश को आगे बढ़ने और समाज के लिए नए चैलेंज लेने की प्रेरणा मिलती है। विज्ञान के जरिए सामाजिक जिम्मेदारी हम सबकी है। मैं देश के साइंटिस्ट से कहना चाहता हूं कि देश के इनोवेटिव टेक्नोलॉजी तलाशें और स्टूडेंट से कहता हूं कि 100 स्टूडेंट, 100 घंटे के लिए एक साथ बैठकर नई खोज करें।”
रिसर्च और डेवलपमेंट को दोबारा परिभाषित करने का वक्त
– पीएम ने कहा, ”हमारे साइंटिस्ट ने एक बार में 100 सैटेलाइट अंतरिक्ष में भेजे हैं, जो देश के लिए बड़ी उपलब्धि है। हमने लेजर टेक्नोलॉजी में खोज के लिए दुनिया की तीसरी लेजर लैब ‘लीबो’ के लिए हरी झंडी दी है।”
– ”अब वक्त आ गया है कि देश में रिसर्च एंड डेवलपमेंट को दोबारा परिभाषित किया जाए। सबके लिए विज्ञान, इसका मतलब है कि समाज के आखिरी व्यक्ति को भी इसका लाभ मिले। उनकी जिंदगी अलग कैसे हो। समाज को आगे बढ़ाने और उनके कल्याण के लिए काम करना चाहिए।”
– ”अब वक्त आ गया है कि देश को दुनिया में आगे लाकर एक नई पहचान बनाई जाए। मैं सभी साइंटिस्ट के अपील करता हूं कि देश के बेहतर भविष्य के लिए काम करें।”
5 हजार डेलिगेट्स हुए शामिल
– न्यूज एजेंसी के मुताबिक, मणिपुर यूनिवर्सिटी के पीआरओ गणेश सेठी ने बताया कि साइंस कांग्रेस में 5 हजार डेलिगेट शामिल हो रहे हैं। इनमें 3 नोबल विनर, देशभर के साइंटिस्ट, स्कॉलर और रिसर्चर शामिल हैं।
मणिपुर में और क्या करेंगे मोदी?
– साइंस कांग्रेस में शामिल होने के बाद मोदी लुवांगशांगबम के लिए निकलेंगे। यहां वे लुवांगपोक्पा मल्टी स्पोर्ट्स कॉम्पलेक्स, नेशनल स्पोर्ट्स यूनिवर्सिटी और स्वतंत्रता सेनानी रानी गैदिनलियू पार्क का इनॉगरेशन करेंगे।