भोपाल। कोरोना संक्रमण बढ़ने से रोकने के लिए पूरे देश भर में घोषित किए गए लॉक डाउन के बाद मध्यप्रदेश में फंसे अन्य राज्यों के दो लाख 33 हजार लोगों की अब उनके गृह प्रदेश में वापसी आसानी से हो सकेगी। राज्य शासन ने इसके लिए ई पास जारी करने  का निर्णय लिया है। प्राप्त जानकारी के मुताबिक लाखों लोग लाक डाउन के कारण के कारण पिछले डेढ़ महीने से मध्यप्रदेश में फंसे हुए हैं। राज्य के स्टेट कंट्रोल रूम में ऐसे 2 लाख 33 हजार लोगों ने अपने-अपने राज्यों में जाने के लिए आवेदन किए हुए हैं। नगरीय प्रशासन विभाग के प्रमुख सचिव संजय दुबे को इन सभी लोगों को उनके राज्यों में वापस भेजने की व्यवस्था सुनिश्चित करने की जिम्मेदारी दी गई है। केंद्र सरकार भी इस श्रेणी में आने वाले अन्य राज्यों के सभी नागरिकों को उनके मूल राज्यों में वापस जाने की व्यवस्था करने के निर्देश दे चुकी है।

मध्य प्रदेश के बाहर के राज्यों के रहने वाले जिन निवासियों को वापसी के लिए ईपास जारी किए जा रहे हैं। कलेक्टर को देखना होगा कि वे वास्तव में सामान्य रूप से मध्यप्रदेश के किसी जिले के निवासी नहीं हैं तथा ईपास का उपयोग व प्रदेश से बाहर जाने के लिए करेंगे।  ऐसे समस्त यात्री जो मध्य प्रदेश के बाहर यात्रा करेंगे उनका राज्यवार संपूर्ण विवरण सहित पूरी जानकारी में पार्टी रोजाना प्रमुख सचिव संजय दुबे को उपलब्ध कराएगी जो अन्य राज्यों को इस बारे में जानकारी देंगे।

अन्य राज्यों कि हॉटस्पॉट जिलों में फंसे मध्य प्रदेश के किसी भी व्यक्ति को वर्तमान में जिला कलेक्टर अथवा राज्य शासन द्वारा प्रदेश के किसी भी जिले में आने की अनुमति नहीं दी जाएगी।

अन्य राज्यों के नागरिक जो मध्यप्रदेश में लॉक डाऊन के कारण फंसे हुए हैं ,यदि वे अपने स्वयं के साधनों से मध्य प्रदेश से बाहर जाना चाहते हैं तो उन्हें मैप आईटी के पोर्टल पर अपने वाहन के पंजीयन क्रमांक, सदस्यों के नाम और विवरण के साथ पंजीयन कराना होगा। इसके बाद संबंधित जिले के कलेक्टर इन लोगों के वाहनों के आने और जाने के लिए ईपास जारी करेंगे।

इधर, जिन घरों में शादियों की तैयारियां हो चुकी हैं, वहां परेशानियां खत्म नहीं हो रही हैं। केंद्र सरकार ने शादियों के लिए 50 लोगों को शामिल होने की अनुमति दी है, लेकिन इस अनुमति के लिए लोग भटक रहे हैं। जिन घरों में शादी पत्रिकाएं छप चुकी हैं और पूरी तैयारियां भी हो चुकी हैं, वहां परमिशन नहीं मिल पाने की वजह से तनाव की स्थिति है। रेड जोन के जिले में इसकी कोई सुनवाई नहीं हो पा रही है।

मध्यप्रदेश के ऐसे निवासी जो अन्य राज्यों में रुके हुए हैं तथा अपने साधन से वह वापस मध्यप्रदेश आना चाहते हैं। अगर वह हॉटस्पॉट जिलों में वर्तमान में नहीं हैं तभी उनको अपने साधनों से आने की अनुमति ई-पास के माध्यम से जिला कलेक्टर द्वारा दी जाएगी। इसके अलावा ऐसे निवासी जिनके पास अपने संसाधन नहीं हैं और वह हॉटस्पॉट वाले जिलों में नहीं हैं। उन्हें मध्यप्रदेश शासन द्वारा निर्धारित परिवहन के माध्यम से वापस लाए जाने की व्यवस्था की जाएगी। ऐसे लोगों को सुविधाजनक तरीके से लाने और संपूर्ण विवरण के लिए मैप आईटी के पोर्टल पर पंजीयन कराना होगा।

सामान्यत: मध्य प्रदेश के निवासी जो इंदौर ,उज्जैन, भोपाल, धार, खंडवा,खरगोन जिलों से अन्य जिलों में मेडिकल इमरजेंसी तथा मृत्यु और विवाह के अतिरिक्त ई पास जारी नहीं किए जाएंगे। लेकिन इसके अलावा भी इन जिलों के जिला कलेक्टर की अनुशंसा के बाद राज्य शासन के स्तर पर ऐसे लोगों के ई पास जारी किए जा सकेंगे प्रदेश के ग्रीन तथा अरेंज जिलों के सात अन्य सभी जिलों में जाने की अनुमति कलेक्टर द्वारा दी जा सकेगी लेकिन इन सभी के लिए भी मैप आईटी के पोर्टल पर पंजीयन कराना होगा।

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