इस्लामाबाद !   पाकिस्तान की विभिन्न अदालतों ने पूर्व राष्ट्रपति परवेज मुशर्रफ को संसदीय चुनाव में खड़े होने से अयोग्य घोषित कर दिया। मुशर्रफ को संविधान को निलंबित करने और वर्ष 2007 में अपने शासन के दौरान देश में आपातकाल लगाने के कारण अयोग्य घोषित किया गया है। वकीलों ने मंगलवार को यह जानकारी दी। समाचार एजेंसी सिन्हुआ के अनुसार मुशर्रफ राष्ट्रीय संसदीय चुनाव में राजधानी इस्लामाबाद सहित चार संसदीय सीटों से चुनाव लड़ना चाहते थे। लेकिन पाकिस्तानी निर्वाचन प्राधिकरणों द्वारा मुशर्रफ का नामांकन पत्र खारिज कर दिया गया।
मुशर्रफ ने सिंध के कराची, पंजाब के कसूर और राजधानी इस्लामाबाद के स्थानीय निर्वाचन प्राधिकरणों पर उनका नामांकन पत्र खारिज किए जाने के खिलाफ याचिका दाखिल की थी। लेकिन उच्च न्यायालयों के न्यायाधीशों वाली निर्वाचन न्यायाधिकरण ने मुशर्रफ की याचिका खारिज कर दी।
सिर्फ उत्तरी पाकिस्तान के खैबर पख्तूनख्वा प्रांत के चितरल जिले में मुशर्रफ का नामांकन पत्र स्वीकार किया गया। हालांकि वहां भी उनके राजनीतिक प्रतिद्वंद्वियों ने उनके नामांकन पत्र को मिली मंजूरी को चुनौती दे दी।
तीन सदस्यीय एक निर्वाचन न्यायाधिकरण ने मंगलवार को मुशर्रफ के प्रतिद्वंद्वियों की असहमतियों को स्वीकार कर लिया और मुशर्रफ को चितरल से चुनाव लड़ने के लिए अयोग्य करार दे दिया।
मुशर्रफ के प्रतिद्वंद्वियों के वकीलों ने कहा कि मुशर्रफ ने संविधान को ध्वस्त किया था और उन पर विभिन्न अदालतों में मुकदमे चल रहे हैं। इसलिए वह संसदीय चुनाव में खड़े होने की योग्यता नहीं रखते।
उन्होंने यह भी तर्क दिया कि चितरल क्षेत्र शांतिपूर्ण इलाका है और मुशर्रफ के वहां से चुनाव लड़ने से कानून व्यवस्था में दिक्कतें आ सकती हैं।
उधर पाकिस्तानी तालिबान ने एक वीडियो जारी कर मुशर्रफ पर हमला करने की चेतावनी दी है।
कानूनविदों का कहना है कि मुशर्रफ के पास सर्वोच्च न्यायालय में अपील करने का अधिकार है।

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