जेल में बंद एक कैदी ने सुप्रीम कोर्ट से एक ऐसी भावुक अपील कर दी कि कोर्ट को भी सोचने पर मजबूर होना पड़ गया. दरअसर एक कैदी ने सुप्रीम कोर्ट से अपील की है कि वह आखिरी सांस अपनी मां की गोद में लेना चाहता है. बताया जाता है कि अर्जी दाखिल करने वाले कैदी को मुंह का कैंसर है, जो थर्ड स्टेज में पहुंच चुका है. डॉक्टरों ने उसे कुछ दिन का ही वक्त दिया है. इस मामले में अब कोर्ट ने राजस्थान पुलिस से इस पूरे मामले की जानकारी मांगी है.
जानकारी के अनुसार चीफ जस्टिस रंजन गोगोई और जस्टिस अनरुद्ध बोस की वकेशन बेंच ने कैदी की याचिका पर पांच जून तक पुलिस से जवाब मांगा है. उसी दिन इस मामले की अगली सुनवाई भी होगी. कैदी को जाली नोट के साथ पकड़ा गया था तब से वह जेल में है. इस मामले में उसने राजस्थान हाई कोर्ट ने अपील भी की थी लेकिन 24 अप्रैल को उसे अंतरिम जमानत देने की अर्जी ठुकरा दी थी.
हाई कोर्ट के फैसले के खिलाफ आरोपी ने अब सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है. कैदी ने कोर्ट से गुहार लगाई है कि उसे थर्ड स्टेज का कैंसर है और रोज जयपुर के एक अस्पताल में उसकी रेडियोथेरेपी हो रही है. कैदी ने आरोप लगाया है कि उसे सही इलाज नहीं मिला, जिसके कारण उसका इलाज समय पर नहीं हो सका. उसका कहना है कि मेरी याचिका इसलिए खारिज कर दी जा रही है क्योंकि बताया जा रहा है कि उसका सवाई मान सिंह अस्पताल जयुपर में इलाज चल रहा है और पिछले आठ महीने से हर रोज उसकी रेडियोथेरपी हो रही है. याचिकाकर्ता ने कोर्ट से कहा है कि वह इस मामले में जल्द से जल्द फैसला सुनाए.