मुरैना ! मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह के काल में हुई नियुक्तियों को लेकर भारतीय जनता पार्टी द्वारा किए जा रहे हमलों का कांग्रेस ने करारा जवाब देते हुए कहा कि व्यावसायिक परीक्षा मंडल (व्यापमं) घोटाले की केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) जांच निष्पक्ष हुई तो मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ही नहीं उनकी पत्नी साधना सिंह भी सलाखों के पीछे होंगीं।
नगरीय निकाय के चुनाव प्रचार के सिलसिले में मुरैना पहुंचे कांग्रेस की प्रदेश इकाई के अध्यक्ष अरुण यादव ने रविवार को संवाददाताओं से चर्चा करते हुए माना कि दिग्विजय सिंह के काल में पर्चियों पर नियुक्तियां हुई हैं, यह सही है, इन नियुक्तियों में न तो गड़बड़ी हुई और न ही भ्रष्टाचार हुआ है। यह नियुक्तियां गरीब और मजबूर लोगों की हुई, इसके बदले में किसी से रकम नहीं ली गई, मगर व्यापमं में जो हुआ है वह सभी जानते हैं।
यादव ने सवाल किया कि अगर व्यापमं फर्जीवाड़े में मुख्यमंत्री का हाथ नहीं है तो फिर क्यों जगह-जगह घूमकर सफाई दे रहे हैं, अगर जांच सही हुई तो चौहान को अपनी पत्नी साधना सिंह के साथ सलाखों के पीछे जाना होगा।
ज्ञात हो कि बीते दिनों उच्च न्यायालय की खंडपीठ ने दिग्विजय सिंह के काल में हुई एक नियुक्ति को अवैध बताते हुए रद्द कर दिया था, साथ ही अन्य नियुक्तियों की जांच के निर्देश दिए थे। इतना ही नहीं भाजपा संगठन और सरकार से जुड़े लोगों ने दिग्विजय सिंह के कई नोटशीट जारी कर अवैध नियुक्तियों का आरोप लगाया। वहीं कांग्रेस लगातार व्यापमं घोटाले को लेकर शिवराज सिंह चौहान पर आरोप लगाती रही है।

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