भोपाल. मध्य प्रदेश में रेत खदानों में अब मशीनों का इस्तेमाल नहीं किया जाएगा बल्कि उनकी जगह मजदूरों से काम कराया जाएगा. ट्रकों में लोडिंग भी मजदूर ही करेंगे. लॉक डाउन में काम धंधा बंद होने के कारण मजदूरों को रोज़गार देने के लिए सरकार ने ये फैसला किया है. जहां कहीं मशीनें और डंपर मिलेंगे उनके मालिकों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की जाएगी.

मंत्री कमल पटेल ने मंत्रालय में जबलपुर और नर्मदापुरम संभाग में खनिज खनन की विभाग के अधिकारियों के साथ समीक्षा की.उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिया है कि रेत खदानों में ज़्यादा से ज़्यादा मजदूरों को काम पर लगाया जाए. खदानों में मशीन से काम बंद किया जाए.

मंत्री कमल पटेल ने निर्देशों का पालन सख्ती से कराने की हिदायत दी है. उन्होंने कहा ड्रोन कैमरे से रेत खदानों की वीडियोग्राफी करायी जाए. किसी भी हालत में मशीनों से उत्खनन न हो.
 
कमल पटेल ने साफ कहा कि नर्मदा किनारे डम्पर, मशीनें अगर मिलीं तो उनके मालिकों के खिलाफ FIR दर्ज कराई जाएगी. उन्होंने सरकार की खनिज नीति का अक्षरश: पालन कराने की सख्त हिदायत दी है. खदानों में सिर्फ रॉयल्टी पर आरटीओ से अनुमति प्राप्त गाड़ियों से ही खनिज की ढुलाई की जाए.

कमल पटेल ने खनिज विभाग के डायरेक्टर विनीत कुमार ऑस्टिन से कहा कि जिन खेतों में पानी के बहाव से रेत आ जाती है, उन खेत मालिकों को रेत बेचने की छूट दी जाए. उन्होंने कहा खनिज नीति में इसके लिए ज़रूरी बदलाव किए जाएं.बैठक में कार्यकारी निदेशक, मध्यप्रदेश खनिज निगम दिलीप कुमार भी मौजूद थे.

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