भोपाल। मध्यप्रदेश में पिछले पांच छह दिनों से चल रहे सियासी घटनाक्रमों के बीच कांग्रेस विधायक हरदीप सिंह डंग के इस्तीफे के बाद राज्य में सत्तारूढ़ दल कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं के बीच बैठकों का दौर मुख्यमंत्री निवास पर देर रात तक चला। डंग के त्यागपत्र के बाद कल देर रात ही भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) विधायक नारायण त्रिपाठी ने मुख्यमंत्री निवास पहुंचकर मुख्यमंत्री कमलनाथ से मुलाकात की।
इस दौरान उनके त्यागपत्र की भी खबर उड़ गयी, हालाकि मुलाकात के बाद रात्रि लगभग 12 बजे मुख्यमंत्री निवास के बाहर त्रिपाठी ने मीडिया से त्यागपत्र से इंकार किया और दावा किया कि वे अपने विधानसभा क्षेत्र मैहर के ‘विकास’ के संबंध में मुख्यमंत्री से मिलने गए थे। त्रिपाठी के साथ ही भाजपा के एक अन्य विधायक के मुख्यमंत्री निवास पहुंचने की खबरें भी आयीं, लेकिन इसकी पुष्टि नहीं हो पायी।
डंग के इस्तीफे के बाद दो भाजपा विधायकों के मुख्यमंत्री निवास पहुंचने के घटनाक्रम को नहले पर दहले के रूप में देखा जा रहा था, लेकिन मध्य रात्रि में साफ हुआ कि किसी भी भाजपा विधायक का त्यागपत्र नहीं हुआ है। वहीं रात में कमलनाथ मंत्रिमंडल के अनेक सदस्य मुख्यमंत्री निवास पहुंचे और सभी के साथ मुख्यमंत्री की चर्चा हुयी। माना जा रहा है कि इस दौरान ताजा राजनैतिक हालातों पर मंथन हुआ और भविष्य की सत्तारूढ़ दल की रणनीति भी तय की गयी।
कल से तेज हुए राजनैतिक घटनाक्रमों के बीच वरिष्ठ कांग्रेस नेता दिग्विजय सिंह भी आज दिल्ली से भोपाल पहुंच रहे हैं। उनके कार्यालय की ओर से कल रात ही बताया गया कि सिंह का शुक्रवार का उत्तरी अंचल और ओरछा का दौरा निरस्त कर दिया गया है और वे भोपाल में ही रहेंगे। वहीं मुख्यमंत्री राजधानी में हैं और शाम को उनका ओरछा जाने का कार्यक्रम है। दूसरी ओर भाजपा के वरिष्ठ नेता शिवराज सिंह चौहान और अन्य नेताओं के दिल्ली में ही रहने की खबरें हैं।
माना जा रहा है कि कथित ‘ऑपरेशन लोटस’ दिल्ली से ही संचालित हो रहा है। कांग्रेस के ‘लापता’ विधायक बिसाहूलाल सिंह, हरदीप सिंह डंग और रघुराज कंसाना तथा निर्दलीय विधायक सुरेंद्र सिेह शेरा बंगलूर में डेरा डाले हुए हैं। वहीं बुधवार को राजधानी दिल्ली से लौटे छह विधायकों में से तीन विधायक बसपा के संजीव कुशवाह और रामबाई तथा सपा विधायक राजेश कुमार शुक्ला के सुर बगावती ही नजर आए।
कल दिन भर विभिन्न समाचार माध्यमों को साक्षात्कार में इन विधायकों ने इस बात से इंकार किया कि उन्हें बंधक बनाया गया था या कोई प्रलोभन दिया गया। बुधवार को लौटे तीन अन्य विधायकों में ऐदल सिंह कंसाना, रणवीर जाटव और कमलेश लाटव शामिल हैं। इन छह विधायकों के लौटने के बाद बुधवार को सत्तारूढ़ दल कांग्रेस के रणनीतिकारों ने थोड़ी राहत की सांस ली थी, लेकिन कल देर शाम सत्तारूढ़ दल कांग्रेस के विधायक श्री डंग के त्यागपत्र के बाद राजनैतिक पारा एक बार फिर बढ़ गया।
डंग ‘अज्ञात’ स्थान पर हैं और उन्होंने विधानसभा अध्यक्ष को विधायक पद से त्यागपत्र ईमेल के माध्यम से भेजा है। पहले इस त्यागपत्र को फर्जी भी बताया गया, लेकिन इसका घंटों बीत जाने के बावजूद डंग की ओर से खंडन नहीं किया गया। वहीं विधानसभा अध्यक्ष एन पी प्रजापति और मुख्यमंत्री कमलनाथ ने कहा कि डंग के त्यागपत्र की खबर आयी हैं, लेकिन उन्होंने उनसे मिलकर त्यागपत्र नहीं दिया है। प्रजापति ने कहा कि जब ऐसा होगा, वे इस पर विचार करके अगला कदम उठाएंगे। वहीं श्री डंग के त्यागपत्र के बाद भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष विष्णुदत्त शर्मा ने तत्काल अपना बयान जारी कर मुख्यमंत्री से जानना चाहा कि श्री डंग का त्यागपत्र क्यों आया है। इस बारे में उन्हें स्पष्ट करना चाहिए।